Mein Kaamwali aur Dost ki Maa

मैं दिल्ली से हूँ और जॉब के लिए राजस्थान आया था.

मेरी जॉब के चलते राजस्थान में तबादला हुआ था.

राजस्थान में मेरा कोई रिश्तेदार नहीं था. बस मेरे दो दोस्त दानिश और इब्राहिम रहते थे.

मैंने उन दोनों से संपर्क किया और बोला कि मुझे रहने के लिए रूम चाहिए.

तब दानिश बोला- हां असलम, तू राजस्थान आ जा, तुझे रूम दिला देंगे और जब तक रूम की व्यवस्था ना हो, तुम हमारे घर में रह लेना.

मैं राजस्थान आ गया, अपने दोस्तों से मिला.

फिर कुछ ऐसा हुआ कि 25 दिन तक मुझे उन दोनों के घर रहना पड़ा.

मुझे रूम नहीं मिल रहा था.

फिर जब 25 दिन बाद एक रूम मिल गया तो मैंने उसे किराये पर ले लिया.

अब रूम तो मिल गया लेकिन मेरी प्रॉब्लम अभी भी थी.

मैं अकेला था और मुझे खाना नहीं बनाना आता था.

साथ ही मुझे जॉब का भी देखना पड़ता था, तो ये सब सोच कर मैंने एक कामवाली रखना ठीक समझा.

मैं कामवाली खोजने लगा.

तीन दिन बाद रुखसाना नाम की औरत मेरे पास आयी.

रुखसाना की उम्र 38 साल की थी.

जब वो पहली बार आयी, तब मैं उसे देखता ही रह गया.

क्या माल थी साली!

ऐसा लगा कि अभी ही उसे चोद दूँ.

लेकिन मैंने नजर हटाई और अपने मन में बोला कि असलम यह गलत है.

मैंने रुखसाना से बात की- जी बोलिए, आप कितने बजे काम करने आएंगी?

रुखसाना आंखें मटका कर बोली- देखो साहब, मैं सुबह 9 बजे यहां आती हूँ. आपके रूम पर दस बजे तक आ सकती हूँ.

मैं बोला- ठीक है, मैं दस बजे जॉब के लिए निकल जाऊंगा और तुम काम पटा कर रूम लॉक करके चली जाना. तुमको रात का खाना बनाना होगा, दिन में बाहर देख लूँगा. रात में तुमको डिनर बनाने आना होगा.

रुखसाना बोली- साहब मैं रात में 7 बजे आकर खाना बना कर चली जाऊंगी.

मैं बोला- ठीक है, लेकिन रविवार दो टाइम बनाना होगा. दोपहर का भी खाना बनाने रुकना होगा.

वो मान गयी.

मैंने पूछा- कितना लोगी?

वो हिसाब लगा कर बोली- महीने का सात हजार लूँगी.

मैं बोला- ये कुछ ज्यादा नहीं है?

रुखसाना बोली- देखो, आपके यहां सुबह शाम 2 टाइम आना है. खाना भी बनाना है, इससे कम नहीं होगा.

मैंने भी कुछ सोचा और बोल दिया- ठीक है, सात हजार फाइनल.

अब मैंने अपने रूम की डुप्लीकेट चाभी रुखसाना को दे दी कि कभी मैं जॉब से रात में लेट हो गया या सुबह नींद में सोया रहा होऊं, तो डिस्टर्ब ना हो.

ऐसे ही एक हफ्ता हो गया.

एक दिन इब्राहिम ने फोन किया, वो बोला- असलम यार तुझे समय नहीं है … या हमें भूल गया?

मैं बोला- ऐसा कुछ नहीं भाई, जॉब में काम के चलते ज्यादा बिजी रहता हूँ.

दानिश बोला- यार जॉब तो मैं भी करता हूँ.

इब्राहिम भी बोला- हां, मेरा तो बिजनेस है … फिर भी मैं इतना बिजी नहीं रहता हूँ. असलम तेरे पास समय क्यों नहीं है?

मैं बोला- नहीं भाई, ऐसा नहीं है.

इब्राहिम बोला- तू राजस्थान आया, जॉब मिली, रूम मिल गया और सैट भी हो गया. अब हम दोनों को पार्टी चाहिए.

दानिश- हां असलम, तू बोला भी था कि तू पार्टी देगा.

मैंने कहा- हां यार, बोला तो था और मना भी कहां कर रहा हूँ. बोलो, कब करनी है पार्टी?

वो दोनों एक साथ बोले कि दो दिन बाद इस रविवार को.

मैं बोला- ठीक है. रविवार शाम में मेरे रूम आ जाओ.

वो दोनों हां बोले.

फिर दूसरे दिन मैंने मेरी कामवाली रुखसाना से बात की और उससे कहा कि इस रविवार मेरे दोस्त आएंगे, तो तुमको उनका खाना भी बनाना होगा.

रुखसाना बोली- ठीक है, लेकिन एक्स्ट्रा पैसा लूँगी.

मैं बोला- ठीक है.

दो दिन बाद रविवार शाम को दानिश और इब्राहिम आ गए.

मैं व्हिस्की और वोडका ले आया था और हम तीनों दोस्त ड्रिंक करने लगे.

कुछ देर में मेरी कामवाली रुखसाना खाना बनाने आयी.

तब हम ड्रिंक ही कर रहे थे.

रुखसाना हमें देख कर किचन में चली गई.

तब दानिश और इब्राहिम बोले- क्या माल रखी है यार … तेरी कामवाली तो पटाखा है.

मैं बोला- क्या यार … गलत बोलते हो!

वो दोनों बोले- अबे असलम, यह साली कामवालियां अधिकतर चालू माल ही होती हैं, सब साली एक नंबर की चुदक्कड़ होती हैं. कमाल तो ये है कि तूने अब तक हाथ क्यों नहीं मारा?

अब तक मुझे भी व्हिस्की चढ़ गयी थी.

एक झटके में अपना दारू का गिलास पीकर मैं भी बोला- हां यार, सही बोलते हो. मैंने जब इसे पहली बार देखा था, तब मन बहुत हुआ साली को चोद दूँ. लेकिन फिर सोचा कि अच्छा नहीं होगा.

तब दानिश मेरी बात काटते हुए बोला- अरे हमारे घर कोई नौकरानी नहीं आती. अगर इसकी जैसी आती, तो अब तक मैं चोद दिया होता.

मैं नशे में बोला- सालो, चाहते क्या हो?

वो दोनों अपने अपने ग्लास उठा कर बोले- तेरी काम वाली को चोदना चाहते हैं.

मैंने कहा- यार, वो नहीं मानेगी और उसने काम पर आना छोड़ दिया तो मुझे दिक्कत हो जाएगी.

इब्राहिम बोला- अरे असलम कुछ नहीं होगा. वो भी मजे देगी और लेगी. मैं उसकी नजर देख कर ही समझ गया हूँ.

मैं बोला- यार, मुझे डर लगता है.

दानिश बोला- तू हां कर असलम, बाकी हम पर छोड़ दे.

मैं बोला- हां, मैं भी साली की चूत चोदना चाहता तो हूँ, मगर कैसे सैट करूं … ये समझ नहीं आता.

इतने में रुखसाना हमारे सामने आयी और बोली- मैंने खाना बना दिया है साहब.

इब्राहिम बोला- जरा फ्रिज से बर्फ ला दो.

रुखसाना हां बोल कर बर्फ लायी.

फिर वो आंखें नचा कर और इठला कर बोली- अब मैं जाऊं साहब?

इब्राहिम बोला- अरे क्या रुखसाना, रुक जा यार … आज तेरे साथ मस्ती करने का मन है.

वो हंस दी और गांड हिलाने लगी.

उसकी गांड मटकते देख कर वो दोनों खड़े हो गए और रुखसाना के पास आ गए.

मैं अभी बैठा हुआ ये सब देख रहा था और अपनी ड्रिंक पी रहा था.

वो दोनों रुखसाना के पास जाकर उसकी कमर में हाथ डाल कर उसे सहलाने लगे.

दानिश बोला- आज रात यहीं रुक जा, तेरे साथ मजा करना है.

इब्राहिम ने भी रुखसाना का हाथ पकड़ लिया.

रुखसाना अदा से बोली- नहीं साहब, मैं तीन के साथ कैसे करूंगी … यह गलत है. प्लीज़ मुझे जाने दो, मैं ऐसी वैसी नहीं हूँ.

तब दानिश बोला- अरे यार, हम भी ऐसे वैसे नहीं हैं. तू कैसी है, हम सब जानते हैं. आज खुश कर दे बस. हम भी तुझे खुश कर देंगे.

वो मुस्कुरा दी.

इब्राहिम बोला- मान जा मेरी जान!

रुखसाना पहले तो आना-कानी करने लगी, फिर बोली- कितनी देर लगाओगे?

उसकी रजामंदी देख कर मेरी बांछें खिल गईं.

मैं उसकी तरफ देखने लगा.

वो भी मुझे देख कर मुस्कुराने लगी.

तब मैं बोला- आज तक तूने मुझे कभी खुश नहीं किया और मेरे इन कमीन दोस्तों से एक बार में राजी हो गई.

रुखसाना मेरे पास आकर बैठ गई और अपना हाथ मेरे लंड पर फेर कर बोली- क्या साहब एक बार कहा तो होता, मैं मना करती, तो कहते!

मैं चुप हो गया.

वो तो साली शुरू से ही चुदने को राजी थी; मैं ही चूतिया था जो उससे कभी कुछ कहा नहीं.

फिर मेरे दोनों दोस्त मेरे करीब आ गए और रुखसाना के पास अपने लंड करने लगे.

उसने भी बड़ी मस्ती से एक एक करके हम तीनों के पैंट के ऊपर से लंड पर हाथ घुमाया और बोली- मुझे खुश कर देना बस!

हम तीनों ने एक दूसरे की तरफ देखा और मैंने उससे कहा- अरे जान तू हमें खुश करेगी, तो हम भी तुम्हें खुश करने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे.

रुखसाना मान गयी.

अब हम तीनों दोस्त एक साथ रुखसाना से चिपक गए और रुखसाना को मसलने लगे, चूमने लगे.

वो हम तीनों के बीच में फंसी सी थी.

हम सभी ने उसे जगह जगह किस करने शुरू किया.

मैं पीछे से रुखसाना के गले में चूमने लगा, दानिश आगे से होंठ काटने और चूमने लगा और इब्राहिम साइड से उसके दूध दबाने लगा.

हम तीनों उसे गर्म करने में लग गए थे. उसकी भी मादक आवाजें निकलने लगी थीं ‘उम्म … उऊम्मा …’

मैंने रुखसाना की चुन्नी को हटा दिया और बगल से हाथ डाल कर उसके मम्मे दबाने लगा.

आगे से दानिश उसके मम्मों पर चूमने लगा.

आह … बड़े ही मस्त और रसीले दूध थे रंडी के!

ऐसे ही हम तीनों उसके साथ चूमाचाटी करते रहे और रुखसाना के कपड़े उतार दिए.

अब रुखसाना ब्रा और पैंटी में थी.

उसका नंगा बदन देख कर हम तीनों को और ज्यादा नशा हो गया था.

सच में बड़ा ही मस्त बदन था रुखसाना का … उसका जिस्म 38-34-40 का भरा हुआ कातिलाना बदन था.

फिर मैं आगे आ गया और दानिश पीछे!

इब्राहिम पहले से ही बाजू में था.

मैं रुखसाना के मम्मों को दबाने लगा और जीभ से जीभ मिला कर उसे किस कर रहा था.

दानिश पीछे से उसकी जांघों पर हाथ फेर रहा था.

कुछ ही देर बाद दानिश ने रुखसाना की ब्रा का हुक खोल दिया और मैंने उसकी पैंटी उतार दी.

अब रुखसाना एकदम नंगी थी और उसने खड़ी होकर एक एक करके हम तीनों के कपड़े उतार दिए.

हमने रुखसाना को घुटने के बल बैठने का बोला.

वो समझ गई कि अब लंड चूसने की बारी आ गई है, वो लंड चूसने के लिए राजी थी.

रुखसाना पोजीशन बना कर बैठ गई और हमारा लंड चूसने लगी. वह एक एक करके हम तीनों के लंड मुँह में ले रही थी.

दानिश का लंड 6 इंच और इब्राहिम का 5.5 इंच था, सबसे बड़ा मेरा लंड 7 इंच का था.

रुखसाना हमारे मोटे लंड देख कर बोली- सालो, आज तुम तीनों मेरी चूत की बाजा बजा दोगे … बहन के लौड़ो … आह चोदो मेरे मुँह को चोदो मादरचोद!

उसने गाली बकना शुरू की तो हम तीनों भी बारी बारी से मस्ती में उसके मुँह में लंड पेल कर मुँह की चुदाई करने लगे.

लंड जोर जोर से अन्दर बाहर कर रहे थे, उसके दूध मसल रहे थे.

लगभग बीस मिनट तक रुखसाना ने हमारे लंड मुँह में लेकर चूसे और हमारा पानी (वीर्य) मुँह में लेकर पी लिया.

कुछ देर मस्ती होती रही.

फिर दानिश बेड पर सीधा लेट गया और रुखसाना से बोला- अपनी गांड, मेरे मुँह पर रख दे रुखसाना.

उसने अपनी गांड दानिश के मुँह पर रख दी.

दानिश आगे से रुखसाना के पैर चौड़े करके उसकी चूत चाटने लगा.

दानिश चाट रहा था और इब्राहिम उसके मम्मों को दबा दबा कर चूसे जा रहा था.

कुछ मिनट बाद हमने पोजीशन बदली.

अब मैं रुखसाना की गांड चाटने लगा था और इब्राहिम चूत चाटने लगा था.

दानिश उसके बूब्स के मजे लेने लगा था.

काफी देर हो गई थी, वो झड़ नहीं रही थी.

मैंने उससे कहा- क्या तू झड़ी नहीं है अब तक?

वो मुस्कुरा दी और उसने अपनी गांड तेजी से हिलाना शुरू कर दी.

एक मिनट बाद रुखसाना ने अपनी चूत का पानी छोड़ दिया.

वो झड़ गयी, तो मैंने और इब्राहिम ने रुखसाना का पानी पी लिया.

साला मस्त नमकीन अमृत था.

अब मैं सीधा लेट गया और रुखसाना से बोला कि अपनी गांड मेरे लंड पर रख कर आ जा.

रुखसाना मेरे लंड पर गांड रख कर ऊपर नीचे करने लगी और इब्राहिम ने आगे चूत में लंड डाल दिया.

दानिश मुँह में लंड पेले था.

अब हम तीनों रुखसाना के तीनों होल का मजा ले रहे थे.

रुखसाना मस्त रांड थी, साली चीख भी नहीं पा रही थी. हम तीनों उसे धकापेल चोदे जा रहे थे.

लगभग 20 मिनट बाद इब्राहिम सीधा लेटा और उसने रुखसाना की गांड में लंड पेल दिया.

मैं रुखसाना की चूत चोदने लगा और दानिश अभी भी मुँह में दे रहा था.

कुछ देर बाद मेरा और इब्राहिम का पानी (वीर्य) निकल गया. मैंने रुखसाना की चूत में … और इब्राहिम ने गांड में रस छोड़ दिया.

दानिश ने उसके मुँह में लंड खाली कर दिया.

फिर हम सब फिर से ड्रिंक करने लगे इस बार रुखसाना भी दारू पी रही थी.

वो ड्रिंक करती हुई बोली- आज बहुत मजा आ रहा है. मैं बहुतों से चुदी हूँ लेकिन असलम तेरा लौड़ा जबरदस्त है.

मैं बोला- कितनों से चुदी?

रुखसाना बोली- अब तक 12 मर्दों से चुद चुकी थी, आज तुम तीनों को मिला कर पंद्रह लंड हो गए.

तब इब्राहिम बोला- साली, तेरे जैसी कामवाली होती ही इसी काम के लिए, इसलिए तो बोलते हैं कामवाली मस्त मिल जाए, तो जिन्दगी का मजा आ जाए.

वो हंस दी.

कुछ देर बाद हम तीनों ने उसे फिर से पेलना शुरू किया.

अब दानिश गांड मारने लगा और इब्राहिम चूत ठोकने लगा था.

मैं मुँह की चुदाई करने लगा.

रुखसाना मस्त चुद रही थी.

उसका मन चिल्लाने का कर रहा था मगर मुँह में लंड होने से वो साली चीख भी नहीं पा रही थी.

थोड़ी देर में इब्राहिम और दानिश ने पानी छोड़ दिया.

अब तक हमने 3 राउन्ड कर लिए थे. हम सब फिर से ड्रिंक करने लगे.

तभी दानिश के घर से फोन आ गया. वो चला गया.

अब मैं और इब्राहिम थे. हम दोनों ने फिर से रुखसाना की चुदाई शुरू की.

मैंने उसकी चूत में लंड डाला और इब्राहिम गांड मारने लगा.

रुखसाना चीख रही थी ‘ओह … मर गयी…’

कुछ डेर बाद मेरा और इब्राहिम का पानी छूट गया और हम तीनों सो गए.

जब सुबह हो गयी तो रुखसाना उठ कर चली गई.

मैं और इब्राहिम बैठ कर बात करने लगे.

मैं बोला- यार, दानिश की अम्मी नसरीन भी मस्त माल हैं.

इब्राहिम बोला- तू उनको चोदना चाहता है?

मैं बोला- हां, लेकिन कैसे?

तब इब्राहिम बोला- मैं कर चुका हूँ उनके साथ. दानिश की अम्मी भी चालू माल हैं. दानिश के अब्बू नहीं हैं न, इसलिए उनकी चूत को लंड की जरूरत होती है.

ये सब सुनकर मैंने दानिश की अम्मी के साथ सेक्स के लिए हां कर दिया.

इब्राहिम बोला- कल लेकर आता हूँ.

दूसरे दिन सुबह मैंने रुखसाना को ठोका और अपनी जॉब पर चला गया.

रात में इब्राहिम, दानिश की अम्मी नसरीन को रूम पर लाया.

वो कांटा माल लग रही थीं.

नसरीन आंटी काले रंग की सलवार और कुर्ती पहनी हुई थीं.

इब्राहिम और नसरीन आए, तब मैं सिर्फ अन्डरवियर में था.

मैं बोला- आंटी क्या लोगी, वोडका या रम?

दानिश की अम्मी बोलीं- मुझे नसरीन बोलो, सिर्फ नसरीन.

मैं बोला- ठीक है.

फिर मैं इब्राहिम से बोला- अगर दानिश को पता चला तो?

तब नसरीन बात काटती हुई बोलीं- दानिश के अब्बू को गुजरे 3 साल हो गए. पिछले डेढ़ साल से मैं इब्राहिम और 5 और मर्दों से चुद चुकी हूँ. जब भी मैं प्रोग्राम करती हूँ, तब दानिश को उससे मामू के घर भेज देती हूँ.

इब्राहिम बोला- क्या असलम, तू भी क्या चूतियापने की दास्तान सुन रहा है … मजा ले न इसकी भोसड़ी का!

नसरीन आंटी हंस दीं और बोलीं- तू पैग बना यार!

मैंने 3 पैग बनाए और हम तीनों ने चियर्स बोल कर सिप करना शुरू किया.

नसरीन आंटी ने अपने पर्स से लाइटर, सिगरेट निकाली और पीने लगीं.

कुछ ही देर में हमने 2-2 पैग मार लिए थे. अब मैं और इब्राहिम, नसरीन आंटी के आगे पीछे आ गए थे.

मैं आगे से किस कर रहा था और इब्राहिम पीछे से आंटी के गले में किस कर रहा था.

मैंने नसरीन आंटी के कपड़े उतार दिए और इब्राहीम ने अपने!

मैं केवल अन्डरवियर पहने था, तो मैंने अपना अन्डरवियर उतार दिया.

अब हम तीनों नंगे हो गए थे.

मैं और नसरीन आंटी 69 के पोज में हो गए.

मैं नसरीन आंटी की चूत चाटने लगा और नसरीन आंटी मेरा लंड चूसने लगीं.

इब्राहिम नसरीन आंटी के पीछे से उनकी गांड चाट रहा था.

कुछ देर बाद मुझे हटा कर इब्राहिम और नसरीन आंटी 69 में हो गए.

अब मैं नसरीन आंटी की गांड चाटने लगा और कुछ देर में नसरीन आंटी झड़ गईं.

उनका रस चूत से निकल कर नीचे से गांड तक आया, एकदम मस्त पानी था.

इब्राहिम सीधा बेड पर लेट गया और नसरीन आंटी से बोला- अपनी गांड सैट करके लंड पर आ जा मेरी जान.

नसरीन आंटी ने अपनी गांड इब्राहिम के लंड पर सैट की और बैठ गईं. मैंने आगे से नसरीन आंटी की टांगें उठा कर चूत में लंड डाल दिया.

अब आंटी की दोनों तरफ से चुदाई होने लगी.

नसरीन आंटी चीख रही थीं- आआआह … मादरचोद एक एक करके चोद लेते … आआह आउउ … मार डालोगे क्या आह.

मैं और इब्राहिम बस चोदे जा रहे थे.

अब मैंने स्पीड बढ़ा दी और इब्राहिम भी धकापेल में लग गया.

कुछ ही देर में हम दोनों ने अपना अपना पानी नसरीन आंटी के अन्दर छोड़ दिया.

इब्राहिम ने गांड में और मैंने चूत में रस डाल दिया था.

कुछ देर बाद इब्राहिम को किसी की कॉल आयी और इब्राहिम चला गया लेकिन मैं और नसरीन अभी भी नंगे थे.

इब्राहिम के जाने बाद मैंने 2 पैग बनाए.

नसरीन और मैंने पैग खत्म कर लिए.

फिर मैंने नसरीन आंटी को घोड़ी बनाया और पीछे से अपना लंड गांड में सैट कर दिया.

मैं नसरीन आंटी की गांड मारने लगा.

नसरीन आंटी मस्त आ आह कर रही थीं ‘आआह … मार जोर से भोसड़ी के … आह …’

अब मैं भी पूरे जोश से गांड मारने लगा.

मैंने लगभग 35 से 45 मिनट तक नसरीन की गांड मारी और अपना वीर्य उनकी गांड में छोड़ दिया.

उस पूरी रात में मैंने नसरीन आंटी के साथ 4 राउन्ड किए और सुबह 7 बजे नसरीन चली गईं.

बाद में मेरी काम वाली रुखसाना आयी, मैंने एक राउन्ड उससे भी सेक्स किया.

मेरे पास अब दो छेद की जुगाड़ हो गई थी.

कभी मैं रुखसाना तो कभी नसरीन आंटी की लेता रहता था.

ऐसा थोड़े दिन चला.

फिर रुखसाना को पता चला कि दानिश की अम्मी चुदने आती हैं.

वो मेरे से कहने लगी कि कभी साथ में मजा लेने का प्रोग्राम बनाओ.

मैंने ओके कहा और इब्राहिम, नसरीन और रुखसाना के साथ फ़ोरसम सेक्स करने लगा.

कभी रुखसाना मेरी बीवी बनती है, तो कभी नसरीन आंटी.

ऐसे ही कभी रुखसाना इब्राहिम की बीबी बनती और कभी नसरीन आंटी बन जाती हैं.

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